Poem
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साहित्यनामा
दिल की कलम से…जज़्बात के रंग से….लिखी गई है रचना….जरा ध्यान से पढ़ना…!!
रश्मि शंकर 1. मेरे अश्क, मेरे गम , सब ढह गए सलोने से वो सपने , सब लह गए बाकी…
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साहित्यनामा
हर एहसास…होता है ख़ास..दिल से लिखे जाते हैं जज्बात…जानिए कैसे व्यक्त करें अपने दिल की आवाज…!!
अंजलि तिवारी मैं कलम से जज्बात लिखने की कोशिश करती हूँ, मैं कोई गीत नही सिर्फ अहसास लिखती हूँ। ख्वाहिशें…
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साहित्यनामा
कहीं कुछ रह तो नहीं गया…होली पर पढ़े ये दिल छू जाने वाली कविता… !!
कहीं कुछ रह तो नहीं गया… ! ︶︸︶︸︶︸︶︸︶ तीन महीने के बच्चे को दाई के पास रखकर जॉब पर जाने…
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साहित्यनामा
कैसे बदल रहे हैं हालात…जानिए एक कवि के जज़्बात…!!
सुशील कुसुमाकर हालात सब बदल रहा…. बह रही हवा बदलाव की….। फिर भी, शहर में ख़ामोशी फुसफुसाहट दरबारियों में, कुछ…
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साहित्यनामा
सोहनलाल द्विवेदी जी की नववर्ष पर लिखी ये कविता पढ़िए….जीवन का मर्म समझिए..!!
सोहनलाल द्विवेदी स्वागत! जीवन के नवल वर्ष आओ, नूतन-निर्माण लिये, इस महा जागरण के युग में जाग्रत जीवन अभिमान लिये;…
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साहित्यनामा
शोर है बेइंतहा….फिर भी हैं खामोशियां…!! पढ़िए दिल को छू जाने वाली कविताएं…!!
रश्मिशंकर शोर तो बहुत है यहां … मगर खामोशियां साफ साफ दिखती हैं करोड़ों की भीड़ है , मगर तन्हाइयां…
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साहित्यनामा
जज्बात पर अलिखित अनुबंध: वर्तमान दौर की हक़ीक़त को बयां करती एक कविता…!!
सुशील कुसुमाकर अलिखित अनुबंध उन्होंने चेहरे पर मुस्कान लिए तुम्हें थोड़ा सिर नवाने का इशारा किया, तो तुमने अपनी रीढ़…
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साहित्यनामा
25 दिसंबर स्पेशल- पूर्व पीएम अटल बिहारी वाजपेई की इस कविता में है खास पहचान….जो आज के दौर में भूल रहा है इंसान..!!
अटल बिहारी वाजपेई की मेरी 51 कविताएं से एक कविता पढ़ते हैं जिसका शीर्षक है पहचान पहचान… आदमी न ऊंचा…