UGC ने PhD में एडमिशन के लिए NET किया अनिवार्य…जानें इस पर क्या है एक्सपर्ट्स की राय?
UGC अर्थात यूनीवर्सिटी ग्रांट कमीशन ने NET अर्थात नेशनल एलिजिबिलिटी टेस्ट को लेकर एक नोटिफिकेशन जारी किया है जो कि इस साल PhD में एडमिशन लेने वाले छात्रों के लिए बड़ी ख़बर है. आइए जानते हैं कि अब NET एग्जाम की कौन सी तीन कैटेगरी होंगी?
नई दिल्ली, 28 मार्च. अगर आप सरकारी या प्राइवेट यूनीवर्सिटी से इस साल पीएचडी करने की सोच रहे हैं तो आपके लिए एक बड़ी ख़बर है. दरअसल UGC ने देश भर के विश्वविद्यालयों और उच्च शिक्षण संस्थानों में PhD एडमिशन को लेकर महत्वपूर्ण बदलाव किया है.
पीएचडी एडमिशन के लिए नहीं होगा एंट्रेंस एग्जामिनेशन
यूजीसी ने 27 मार्च 2024 को एक नोटिफिकेशन रिलीज किया है. इसके मुताबिक PhD एडमिशन अब NET परीक्षा के माध्यम से होगा. ये बदलाव इसी एकैडमिक सेशन से लागू हो जाएगा.
आपको बता दें कि NTA यानि नेशनल टेस्टिंग एजेंसी हर साल जून और दिसंबर में नेट एग्जाम कराती है अब इसी के द्वारा PhD Admission होगा, इससे अब विश्वविद्यालयों को अलग से एंट्रेंस एग्जाम आयोजित नहीं करना पड़ेगा.
कैसे मिलेगा PhD में Admission
UGC के मुताबिक अब PhD में एडमिशन NET स्कोर और इंटरव्यू के आधार पर होगा. इसमें NET स्कोर का वेटेज 70 प्रतिशत और इंटरव्यु का वेटेज 30 प्रतिशत होगा। दोनों को मिलाकर मेरिट लिस्ट तैयार की जाएगी.
कोई भी यूनीवर्सिटी या उच्च शिक्षण संस्थान अपने स्तर पर इंटरव्यू आयोजित करेगा जबकि नेशनल टेस्टिंग एजेंसी अब नेट एग्जाम का पर्सेंटाइल और मार्क्स भी जारी करेगा जो कि पीएचडी एडशिन में मान्य होंगे.
PhD में एडमिशन के लिए UGC NET हुआ अनिवार्य
यूजीसी के इस नए नोटिफिकेशन से साफ है कि अब पीएचडी में एडमिशन के लिए NET अनिवार्य हो गया है. इसी साल जून से UGC NET का रिजल्ट तीन कटेगरी में होगा
- पहली कटेगरी- इसमें सफल होने वाले कंडीडेट्स JRF और असिस्टेंट प्रोफेसर के लिए अप्लाई कर सकेंगे।
- दूसरी कटेगरी- इसमें पास होने वाले उम्मीदवार असिस्टैंट प्रोफेसर की भर्ती और पीएचडी एडमिशन के लिए मान्य होंगे।
- तीसरी कटेगरी- इसमें सफल होने वाले सिर्फ पीएचडी एडमिशन लेने के पात्र होंगे।
शिक्षाविदों की राय ?
UGC के इस नोटिफिकेशन के लिए शिक्षाविदों की मिलीजुली राय है. कुछ प्रोफेसर्स का मानना है कि NET अनिवार्य हो जाने से PhD में एडमिशन के इच्छुक बहुत छात्रों के लिए मुश्किलें आएंगी . इससे पहले के नियमों के अनुसार NET या JRF पास छात्रों को PhD में एडमिशन लेने के लिए एंट्रेंस टेस्ट देने की ज़रूरत नहीं होती थी तो वहीं जो NET पास नहीं होते वे एंट्रेंस एग्जाम के ज़रिए PhD में एडमिशन ले सकते थे लेकिन अब ऐसा नहीं होगा.
NET की अनिवार्यता को असिस्टैंट प्रोफेसर की भर्ती के लिए ठीक कहा जा सकता है लेकिन PhD में एडमिशन के लिए इसकी अनिवार्यता की ज़रूरत नहीं होनी चाहिए.